
(चित्र ब्लोग.लुकइंडिया से साभार)
चलते-चलते
देश दो करेंसी एक
यद्यपि पाकिस्तान को 14th अगस्त, 1947 के दिन, अर्थात् भारत की स्वतंत्रता से एक दिन पूर्व, स्वतंत्रता प्राप्त हुई किन्तु करेंसी के मामले में उसे 30 September, 1948 तक भारत पर ही निर्भर रहना पड़ा था क्योंकि उस दौरान दोनों देशों के मुद्रा प्रबंधन का पूरा भार भारतीय रिजर्व बैंक पर ही था। देखें सन् 1947 के एक रुपये का चित्र जिसमें, Government of India के साथ ही साथ बायीं ओर, Government of Pakistan भी मुद्रित है।

नोट के चित्र के लिए विशेष आभार.
ReplyDeleteअहा ! पाकिस्तानियों ने भारत के इस नोट पर भी तभी हुकूमत-ए-पाकिस्तान लिख लिया था :)
अब समझ आया कि पाकिस्तान बचपन से ही भारत की करेंसी के साथ खिलवाड़ क्यों करता चला आ रहा है... जिसे हम नकली भारतीय मुद्रा कहते हैं उसकी तकनीक तो हमने ही उसे दी है, सिद्ध हो गया :)
अच्छी पोस्ट
ReplyDeleteबहुत ही बढिया जानकारी संडे स्पेशल में
जोहार ले
जो हुआ सो हुआ पर जरुरत अब इस बात कि है हमारा भारत देश कहीं इससे छोटा ना हो जाए.
ReplyDeleteभारत प्रश्न मंच आपका स्वागत करता है. http://mishrasarovar.blogspot.com/
जानकारीपूर्ण आलेख
ReplyDeleteनायब जानकारी और ये नोट भी ..
ReplyDeleteरोचक जानकारी! आभार।
ReplyDeleteबहुत अच्छी जानकारी
ReplyDeleteअपन तो देश को नमन करते हैं और देश के नक्शे को भी। सर्वेश्वरदयाल सक्सेना ने कहा है कि देश सिर्फ कागज का नक्शा नहीं है जिसे हम फाड़कर फेंक दे।
ReplyDeleteअच्छी जानकारी दी आपने।
आप का धन्यवाद इस सुंदर जानकारी के लिये, लेकिन इस नोट पर चित्र किस फ़िरंगी का छपा है???
ReplyDeleteरोचक जानकारी। अच्छी प्रस्तुति।
ReplyDeleteबेहद रोचक! नोट वाली जानकारी तो हमारे लिए बिल्कुल नई है...
ReplyDeleteआभार्!
बहुत ही अच्छी खोज, कहाँ से निकाला ये हीरा आपने ?
ReplyDeleteबहुत काम की जानकारी दी है।
ReplyDeleteThanks nice job you have doing here
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