प्लेन में सारे हिन्दी ब्लोगर्स थे। अचानक प्लेन के इंजिन में खराबी आ गई और पायलट को रेगिस्तान में क्रैश लैंडिंग करना पड़ गया। प्लेन को सावधानीपूर्वक रेगिस्तान में सुरक्षित उतार लिया गया। प्लेन के क्रैश होने पहले सारे ब्लोगर्स सुरक्षित दूरी तक पहुँच गये। यद्यपि प्लेन क्रैश हो गया और दुर्भाग्य से प्लेन का भी उसके साथ स्टाफ समाप्त हो गया किन्तु सौभाग्य यह रहा कि सारे के सारे ब्लोगर्स बच गये।
सारे ब्लोगर्स सुरक्षित बच तो गये किन्तु स्थिति विकट थी, चारों ओर दूर दूर तक रेत ही रेत था। न कोई आदमी न आदम जात। यह भी पता नहीं था कि वे कहाँ पर हैं और नजदीक में कोई गाँव, कस्बा या शहर है भी कि नहीं।
खैर साहब, हमारे कुछ ब्लोगर मित्रों ने अपने तत्काल बुद्धि का प्रयोग करते हुए प्लेन से भागते वक्त अपने साथ कुछ न कुछ सामान भी बचा लाये थे जिसका विवरण नीचे दिया जा रहा हैः
ललित शर्मा जी ने हथियार का बक्सा बचा लिया जिसमें कि बंदूकें, पिस्तोलें और चाकू आदि थे।
हमने तो भाई शानदार व्हिस्की के एक क्रेट बचा लिया था।
एक मित्र ने पानी पाउच की एक बोरी बचा ली थीं।
एक अन्य महोदय ने रेजर और ब्लेड बचाया था।
किसी और ने मोमबत्ती और माचिस का डिब्बा बचाया था।
एक ने अपने साथ एक टार्च रख लिया था।
एक अन्य मित्र ने पैकेज्ड फूड का बक्सा बचा लिया था।
एक महिला ब्लोगर ने अपना मेकअप बॉक्स बचाया था।
एक मित्र ने फर्स्ट एड बॉक्स बचा लिया था।
किसी अन्य ने सामान्य दवाइयों का डब्बा बचाया था जिसमें पैरासीटामॉल, ब्रुफेन, निमुसलाइड जैसे बुखार एवं दर्द निवारक सामान्य दवायें थीं।
एक मित्र ने जो बक्सा बचाया था उसमें दाल, चाँवल, गेहूँ आदि खाना बनाने के सामान थे।
अब आपको बताना है कि उपरोक्त बचाये गये सामानों में से सबसे अधिक काम की चीज कौन सी है? आखिर किस ब्लोगर ने किया था कमाल सबसे अधिक महत्वपूर्ण चीज बचाकर?
सोचिये! दिमाग लगाइये!! जवाब दीजिये!!!
चलते-चलते
किसी बात से नाराज होकर सभापति ने कहा, "इस सभा मे उपस्थित आधे लोग बेवकूफ हैं।"
इस से लोग और भी नाराज हो गये तो सभापति ने कहा, "कृपया नाराज मत होइये, इस सभा मे उपस्थित आधे लोग बेवकूफ नहीं हैं।"
24 comments:
एक मित्र ने पानी पाउच की एक बोरी बचा ली थीं।
मेरे खायाद से शायद इन सज्जन ने महत्वपूर्ण काम किया था, वैसे मैं होता तो शायद कविताओं की बोरी बचा के रखता और जैसे ही कोई पानी माँगता उसे झट से एक कविता प्रस्तुत कर देता !
रही
बात चलते-चलते की तो सोच के बताउंगा की मैं किस पाले में हूँ ! :)
पानी पाऊच की बोरी उठाने वाला ही वो होशियार ब्लागर होगा शायद्।
ललित शर्मा ने जो बचाया वह सबसे अधिक काम का है
कौन माई का लाल है जो बंदूक, पिस्तौल और चाकू से डरकर पानी, व्हिस्की, वगैरह लकित शर्मा के हवाले न करे!
बहुमत तो पानी पउस की बोरी के पक्ष में है।
अवधिया जी, हम होते तो अपना लेपटाप बचा लेते, उससे सारी समस्याऐं हल होजाती, आपने बडा मुशकिल सवाल दिया है पानी तो बच्चा भी जवाब देदेगा, शेविंग किट में पता नहीं आधुनिक या प्राचीनतम क्या है मेकअप बाक्स में हमारी हिम्मत नहीं हुई देखने की उसमें क्या-कया होता है, आपने महिला ब््लागर मेकअप बाक्स देखा हो तो उसका विवरण दो,
मैं लेपटाप बचा लाया था इस लिए उससे चटका न.3
अवधिया जी ने अपना लैपटाप बचाया था शुभकामनायें
ललित शर्मा.
उन्हे जो चाहो मिलेगा :)
ललित जी ..ताकत तो उन्ही के पास है :)
कोई न कोई तो उन्हें ढूंढने जरूर आयेगा और संभव है कि हेलीकाप्टर से आये तो रात में तो टार्च से अच्छा साईन कुछ नही हो सकता और दिन के लिये जिसके पास माचिस है वो कुछ जला कर धुआं भी कर सकता है।
प्रणाम
वैसे महिला अगर ब्लागर है तो 99% चांस है कि उनके मेकअप बाक्स में लेपटाप जरूर होगा
मेकअप बॉक्स...
आई टॉनिक मिलता रहे तो किस कमबख्त को भूख लगेगी...और फिर भूखा भी मर गया तो
मलाल तो नहीं रहेगा...
जय हिंद...
ललित शर्माजी वाकई होशियार निकले सबसे काम की चीज ले ली, अब तो सब उनका ही है। हाँ अगर कोई ब्लॉगर जो मौत से न डरता हो बस वही उनके लिये खतरा है, फ़िल्मी अभिनेता जैसा कि ८-१० गोली लगने पर भी न मरे और पिल पड़े।
माफ़ कीजिये मैं भी अपना लैप टॉप ही बचाती ! ब्लोगरों के लिए तो सबसे जरूरी "लैप टॉप " ही है । पानी के बिना तो फिर भी कुछ देर रहा जा सकता है पर ......
सवाल यहाँ पर यह नहीं है कि लैपटॉप या कुछ और बचा लेते। सवाल तो यह है कि जो बचा लिया गया है उसमें सबसे अधिक काम की या जरूरी चीज क्या है? बचाये गये सामान की लिस्ट ऊपर है ही। तो बताइये कि किसने किया है कमाल सबसे अधिक काम की चीज बचाकर?
क्रैश लैंडिंग में बचने के सदमे से में अभी उबर नहीं पाया, अब डर यह है कि इतनी सारी गैरकानूनी चीजें हिन्दी ब्लागरर्स के लेजाने के कारण हम पर कौन-कौन सी धाराऐं लगेंगी इसकी चिंता है, खेर अपना जवाब तो महिला ब्लागर मेकप अप बाक्स में छुपा हुआ है, सवाल का जवाब यूं भी समझ में नहीं आता आप क्या चाहते हैं, मस्त होके मर जाना चाहते हैं आपकी व्हीस्की काम आएगी,, या आसमान में सिगनल देना चाहते हैं तो आग से धुवां किया जाएगा,सबको मारके स्वयं मरना चाहते हो तो ललित जी का सामान सारे हिन्दी ब्लागर्स के लिए काफी है, दोचार दिन और जीना तो दाल चावल काम आएगा, इसमें सारी गैरकानूनी और कानूनी सामान कारआमद हैं सिवाए दवाइयों के डिब्बे के,
फिर जवाब लाक करना चाहते हैं तो मेरा जवाब है
फर्स्ट एड बॉक्स सबसे कारामद है,
निर्मला कपिला जी नमस्कार,
आप ध्यान दिजिए 13 कमेंटस के बाद आया, 13 कहानी तो आप अपने पाठको को एक पोस्ट में समझा चुके
बेसब्री से इंतज़ार है जानने का।
ललित जी का हाथ थामे जबाब का इन्तजार करते हैं.
पैकेज्ड फूड
भाई आपने व्हिस्की बचा के बढ़िया काम किया......
धन्यवाद.........
हम भी आप ही से जानने को उत्सुक हो रहे हैं....वैसे हम भी ललित शर्मा जी के साथ ही जाना चाहेंगें :)
इनमे तो सबसे होशियार ललित जी ही रहे
तो फ़िर अलबेला जी एक दौर तो हो ही जाए फ़िर बाद मे देखेंगे कौन सी चीज किसके काम आयेगी,
लाफ़्टर के फ़टके- हा हा हा अभी से चालु
एक महिला ब्लोगर ने अपना मेकअप बॉक्स बचाया था।:)
मेरे मत से जिस महिला ब्लोगर ने अपना मेकअप बॉक्स बचाया था। वो सबसे बुद्दिमान थी आखिर जब वो मेकअप किये हुये स्वर्ग से उतरी अप्सरा लगती तब वो आप से कहती जानू थोडी सी व्हिस्की पिलाइये तो आप अकेले पी पाते?
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